रक्षा बंधन पर प्राप्त करें ग्रहों की अनुकूलता :
- Bhavika Rajguru

- Aug 17, 2024
- 4 min read
रक्षाबंधन शुभ मुहूर्त :
वैदिक पंचांग के अनुसार, इस वर्ष रक्षाबंधन 19 अगस्त, सोमवार को मनाई जाएगी. इस दिन दोपहर
के 12 बजकर 30 मिनट तक भद्रा काल रहेगा, लेकिन इसका प्रभाव दोपहर के 1 बजकर 33 मिनट
तक रहेगा. इस दौरान रक्षाबंधन का पर्व नहीं मनाया जाएगा |
हिंदू धर्म में रक्षाबंधन का बहुत अधिक महत्व माना जाता है. इस दिन बहनें अपने भाईयों की
मंगलकामना के साथ उनको राखी बांधती हैं |
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार,:
बहन बुध ग्रह तो भाई मंगल ग्रह का कारक है अतःभाई-बहन दोनों
ही ग्रहों की अनुकूलता को प्राप्त कर सकते है| इस रक्षाबंधन पर बहनें अपने भाई के सुखमय
जीवन और तरक्की के लिए भाई की राशि के अनुसार राखी बांधें राशियों के अनुसार राखी चुनने से
भाई की सेहत, करियर और व्यक्तिगत जीवन में सकारात्मक बदलाव आ सकते हैं. ऐसा करना
भाईयों के जीवन में सुख और सौभाग्य की वृद्धि करेगा.साथ ही भाइयों को अपनी बहनों को
उपहार देकर संतुष्ट करना चाहिये |
इस दिन बहन भाई की सीधे हाथ की कलाई पर राखी बांधती है. लेकिन इससे पहले 4
देवताओं को राखी बांधना चाहिए. ऐसा करना शुभ माना जाता है-|
भगवान गणेश की पूजा से होगा लाभ :
भगवान गणेश प्रथम पूजनीय हैं. किसी भी पूजा से पहले उन्हें स्मरण किया जाता है. उसके
बाद अन्य कार्य संपन्न होते हैं. रक्षाबंधन के दिन भी राखी बांधने से पहले भगवान गणेश
की पूजा करना अत्यंत शुभ माना जाता है. इसलिए भगवान गणेश को रक्षा सूत्र बांधना
चाहिए. ऐसा करने से भगवान की कृपा प्राप्त होगी और जीवन में चल रही सभी समस्याओं
से मुक्ति मिलेगी |
भगवान विष्णु को बांधे राखी :
रक्षाबंधन के दिन भाई को राखी बांधने से पहले बहन को भगवान विष्णु को राखी जरूर
बांधनी चाहिए. इससे जीवन में आ रही सभी समस्याओं से मुक्ति मिलेगी |
शिव मंदिर में चढ़ाएं राखी:
रक्षाबंधन के पर्व पर भगवान शिव को राखी बांधनी चाहिए. रक्षाबंधन श्रावण पूर्णिमा के दिन
बनाया जाता है. श्रावण का महीना भगवान शिव को अतिप्रिय है. इसलिए भाई को राखी
बांधने से पहले शिव मंदिर जाकर राखी अवश्य चढ़ाएं |
बजरंगबली को अर्पण करें राखी:
बजरंगबली भगवान शिव के ही अवतार माने जाते हैं. माना जाता है कि जब चातुर्मास में
सभी देवी देवता शयन करते हैं. भगवान शिव भी कुछ समय के लिए सो जाते हैं. तब
बजरंगबली ही रुद्रावतार में सृष्टि को संचालित करते हैं. बजरंगबली को राखी अर्पण करने से
भाई की सभी संकटों से रक्षा होती है |
भाई को राशि के अनुसार बांधें राखी:
मेष राशि
मेष राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें लाल रंग की राखी बांधे. ऐसा करने से कुंडली में
मंगल ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
वृषभ
वृषभ राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर सफेद रंग की राखी बांधनी चाहिए. ऐसा करने से कुंडली में
शुक्र ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
मिथुन
मिथुन राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर हरे रंग की राखी बांधनी चाहिए. ऐसा करने से कुंडली में
बुध ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
कर्क
कर्क राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें सफेद रंग की राखी बांधें. ऐसा करने से कुंडली में
चंद्र ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
सिंह
सिंह राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें पीले या लाल रंग की राखी बांधें. ऐसा करने से
कुंडली में सूर्य ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
कन्या
कन्या राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें हरे रंग की राखी बांधें. ऐसा करने से कुंडली में
बुध ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
तुला
तुला राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर सफेद रंग की राखी बांधनी चाहिए. ऐसा करने से कुंडली में
शुक्र एवं चंद्र ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
वृश्चिक
वृश्चिक राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें लाल रंग की राखी बांधें. ऐसा करने से कुंडली
में मंगल ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
धनु
धनु राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर पीले रंग की राखी बांधनी चाहिए. ऐसा करने से कुंडली में गुरु
ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
मकर
मकर राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर अपनी बहनों से नीले रंग की राखी बंधवानी चाहिए. ऐसा
करने से कुंडली में शनि ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
कुंभ
कुंभ राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें आसमानी रंग की राखी बांधे. ऐसा करने से
कुंडली में शनि ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.
मीन
मीन राशि वाले जातकों को रक्षाबंधन पर उनकी बहनें पीले रंग की राखी बांधें. ऐसा करने से कुंडली में
गुरु ग्रह की शुभता प्राप्त होगी.|
रक्षाबंधन के बाद राखियों का क्या करें-
ज्योतिष के अनुसार, रक्षाबंधन के बाद भूल कर भी राखी को इधर-उधर नहीं फेंकना चाहिए.
शास्त्रों में इसे अशुभ माना गया है. रक्षाबंधन के बाद राखी को कम से कम एक महीना तक
यानी सावन पूर्णिमा से लेकर भादो पूर्णिमा तक रखना चाहिए. अगर आप 1 महीने तक नहीं
रख सकते हैं तो राखी को अच्छी तरह से खोलकर जल में प्रवाहित कर देंगे या पूजा स्थल
में रख दें, लेकिन अगर आप उस राखी को तोड़कर इधर-उधर फेंक देते हैं तो जीवन पर
नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है |
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